ऑपरेशन सिंदूर के बाद ड्रोन वाले पटाखे डिमांड में:कुल्फी, पिज्जा और कैन वाले क्रैकर्स ट्रेंड में, GEN Z खरीदे रहे कांतारा वाले स्काई शॉटस
दीपावली पर मिठाई, ज्वेलरी, पूजा, प्रॉपर्टी इन सबके अलावा सबसे ज्यादा जिसकी चर्चा होती है, वो हैं पटाखें। राजधानी रायपुर में पटाखों की 100 से अधिक दुकानों को बिक्री के लिए परमिशन मिली है। इस बीच दैनिक भास्कर की टीम लाखेनगर के हिंद स्पोर्टिंग मैदान पहुंची। यहां फिलहाल कस्टमर की भीड़ कम है। लेकिन दुकानदारों का कहना है कि 18 अक्टूबर से भीड़ एकदम से पटाखा मार्केट की ओर आएगी। हमने दुकानदारों से नए पटाखों को लेकर चर्चा की है। इसके अलावा दुकानदारों ने बताया कि इस बार चाइनीज पटाखों का मार्केट सिर्फ 10% में ही सिमट गया है। वहीं इको फ्रेंडली पटाखों का मार्केट बढ़ा है। ट्रेडिशनल अनारदाना, चकरी जैसे पटाखे अब भी डिमांड में हैं। वहीं ऑपरेशन सिंदूर के बाद ड्रोन वाले पटाखे सबसे ज्यादा मार्केट में आए हैं। GEN Z के बीच सबसे ज्यादा डिमांड स्काई शॉट्स के हैं। अलग-अलग ड्रोन वाले पटाखे इस बार अलग ऑपरेशन सिंदूर के बाद और वर्ल्ड में चल रहे करेंट सिनेरियो के बीच ड्रोन सबसे ज्यादा चर्चा में रहे हैं। इस बार मार्केट में अलग-अलग तरह के ड्रोन वाले पटाखे आए हुए हैं। इनमें कुछ लंबी हवाई यात्रा करने वाले हैं, तो कुछ दूरी तक चकरीनुमा घूमते हुए तेज धमाका करने वाले हैं। बच्चों के स्पेशल गदा वाला अनार-दाने की भी चर्चा इस बार पटाखा दुकानों में आपको गदा भी देखने काे मिलेगा। ये गदा स्पेशल अनारदाना वाले हैं। बारूद जलने के बाद बच्चे इसे आम गदा की तरह भी इस्तेमाल कर सकते हैं। हालांकि इसे पूरी सेफ्टी के जलाना होगा। पटाखा बच्चों के लिए है, लेकिन पेरेंट्स के बिना उपयोग में लाना खतरनाक होगा। कुल्फी, पिज्जा और बीयर कैन वाले फैंसी पटाखे भी आए इस बार मार्केट में कुछ यूनिक पटाखे भी आए हैं, जिनके शेप काफी ज्यादा चर्चा में हैं। इनमें से एक है पिज़्ज़ा अनारदाना। जिसे आप पिज्जा की तरह हाथ में रखकर जला सकते हैं। इसका फायरवर्क बहुत ही रंगीन है। लोग इसको काफी पसंद कर रहे हैं। इसके अलावा कुल्फी के शेप वाले अनारदाने भी मार्केट में हैं। वहीं कांतारा के हिट होने के बाद कांतारा स्काई शॉट बहुत ज्यादा ट्रेडिंग में है। बाजार में यह पटाखे भी लुक अप ड्रोन- तेज आवाज के साथ जलने वाला यह पटाखा ड्रोन की तरह आसमान में उड़ेगा। फिर वहां से वह रोशनी बिखेरेगा। इसकी कीमत 150 रुपए है। वॉलकेनो पटाखा- इसे जलाने में यह जमीन से आसमान की तरफ एक टाइम में तीन बार फायर होगा। जो अलग-अलग दिशाओं में होगा। यह टोटल 7 राउंड फायर करेगा। इसकी कीमत 3800 रुपए है। फायर एग- इस पटाखे में मुर्गे का फोटो बना हुआ है। इसे जलाते ही पीछे की तरफ से बड़ा बैलून बाहर आएगा, फिर यह आगे की ओर बढ़ेगा। इसकी कीमत 150 रुपए है। हाई रेंज स्काई शॉट- यह 1400 का सिंगल स्काई शॉट है। जिसमें 5 इंच का शेल डला हुआ है। यह काफी दूरी तक आसमान में जाकर जमीन पर रोशनी बिखेरता है। लेजर शो- इसमें इलेक्ट्रिक लेजर की तरह लंबी दूरी तक तेज रोशनी निकलेगी। E-क्रैकर्स और ग्रीन पटाखों के बारे में पढ़िए धनतेरस, दिवाली और छठ। फिर शादियों का सिलसिला। त्योहारों के अलग-अलग रंग होंगे तो जाहिर है, इस मौके पर आप अपने परिवार, दोस्तों और पड़ोसियों के साथ खुशी बांटने का कोई मौका नहीं छोड़ना चाहेंगे। ऐसे में पटाखे भी जरूर छोड़े जाएंगे। बाजार में पॉल्यूशन और आवाज को कंट्रोल करने के लिए E-क्रैकर्स और ग्रीन पटाखे भी है। E-क्रैकर्स रिमोट के जरिए छोड़े जाने वाले क्रैकर्स हैं। यानी रिमोट का बटन दबाया और पटाखे जल उठेंगे। भारत में E-लड़ी, E-अनार, E-स्पार्कल पटाखे तैयार किए गए हैं। जिस तरह सामान्य पटाखे या ग्रीन पटाखे हैं वैसे ही ये पटाखे भी साउंड करते हैं, रंग-बिरंगी रोशनी बिखेरते। E-पटाखों में धुआं नहीं होता और न ही PM2.5 ही निकलता है। इन पटाखों को काउंसिल ऑफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च (CSIR) और नेशनल एन्वॉयरमेंटल इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट (NEERI) ने मिलकर तैयार किया है।।
दीपावली पर मिठाई, ज्वेलरी, पूजा, प्रॉपर्टी इन सबके अलावा सबसे ज्यादा जिसकी चर्चा होती है, वो हैं पटाखें। राजधानी रायपुर में पटाखों की 100 से अधिक दुकानों को बिक्री के लिए परमिशन मिली है। इस बीच दैनिक भास्कर की टीम लाखेनगर के हिंद स्पोर्टिंग मैदान पहुंची। यहां फिलहाल कस्टमर की भीड़ कम है। लेकिन दुकानदारों का कहना है कि 18 अक्टूबर से भीड़ एकदम से पटाखा मार्केट की ओर आएगी। हमने दुकानदारों से नए पटाखों को लेकर चर्चा की है। इसके अलावा दुकानदारों ने बताया कि इस बार चाइनीज पटाखों का मार्केट सिर्फ 10% में ही सिमट गया है। वहीं इको फ्रेंडली पटाखों का मार्केट बढ़ा है। ट्रेडिशनल अनारदाना, चकरी जैसे पटाखे अब भी डिमांड में हैं। वहीं ऑपरेशन सिंदूर के बाद ड्रोन वाले पटाखे सबसे ज्यादा मार्केट में आए हैं। GEN Z के बीच सबसे ज्यादा डिमांड स्काई शॉट्स के हैं। अलग-अलग ड्रोन वाले पटाखे इस बार अलग ऑपरेशन सिंदूर के बाद और वर्ल्ड में चल रहे करेंट सिनेरियो के बीच ड्रोन सबसे ज्यादा चर्चा में रहे हैं। इस बार मार्केट में अलग-अलग तरह के ड्रोन वाले पटाखे आए हुए हैं। इनमें कुछ लंबी हवाई यात्रा करने वाले हैं, तो कुछ दूरी तक चकरीनुमा घूमते हुए तेज धमाका करने वाले हैं। बच्चों के स्पेशल गदा वाला अनार-दाने की भी चर्चा इस बार पटाखा दुकानों में आपको गदा भी देखने काे मिलेगा। ये गदा स्पेशल अनारदाना वाले हैं। बारूद जलने के बाद बच्चे इसे आम गदा की तरह भी इस्तेमाल कर सकते हैं। हालांकि इसे पूरी सेफ्टी के जलाना होगा। पटाखा बच्चों के लिए है, लेकिन पेरेंट्स के बिना उपयोग में लाना खतरनाक होगा। कुल्फी, पिज्जा और बीयर कैन वाले फैंसी पटाखे भी आए इस बार मार्केट में कुछ यूनिक पटाखे भी आए हैं, जिनके शेप काफी ज्यादा चर्चा में हैं। इनमें से एक है पिज़्ज़ा अनारदाना। जिसे आप पिज्जा की तरह हाथ में रखकर जला सकते हैं। इसका फायरवर्क बहुत ही रंगीन है। लोग इसको काफी पसंद कर रहे हैं। इसके अलावा कुल्फी के शेप वाले अनारदाने भी मार्केट में हैं। वहीं कांतारा के हिट होने के बाद कांतारा स्काई शॉट बहुत ज्यादा ट्रेडिंग में है। बाजार में यह पटाखे भी लुक अप ड्रोन- तेज आवाज के साथ जलने वाला यह पटाखा ड्रोन की तरह आसमान में उड़ेगा। फिर वहां से वह रोशनी बिखेरेगा। इसकी कीमत 150 रुपए है। वॉलकेनो पटाखा- इसे जलाने में यह जमीन से आसमान की तरफ एक टाइम में तीन बार फायर होगा। जो अलग-अलग दिशाओं में होगा। यह टोटल 7 राउंड फायर करेगा। इसकी कीमत 3800 रुपए है। फायर एग- इस पटाखे में मुर्गे का फोटो बना हुआ है। इसे जलाते ही पीछे की तरफ से बड़ा बैलून बाहर आएगा, फिर यह आगे की ओर बढ़ेगा। इसकी कीमत 150 रुपए है। हाई रेंज स्काई शॉट- यह 1400 का सिंगल स्काई शॉट है। जिसमें 5 इंच का शेल डला हुआ है। यह काफी दूरी तक आसमान में जाकर जमीन पर रोशनी बिखेरता है। लेजर शो- इसमें इलेक्ट्रिक लेजर की तरह लंबी दूरी तक तेज रोशनी निकलेगी। E-क्रैकर्स और ग्रीन पटाखों के बारे में पढ़िए धनतेरस, दिवाली और छठ। फिर शादियों का सिलसिला। त्योहारों के अलग-अलग रंग होंगे तो जाहिर है, इस मौके पर आप अपने परिवार, दोस्तों और पड़ोसियों के साथ खुशी बांटने का कोई मौका नहीं छोड़ना चाहेंगे। ऐसे में पटाखे भी जरूर छोड़े जाएंगे। बाजार में पॉल्यूशन और आवाज को कंट्रोल करने के लिए E-क्रैकर्स और ग्रीन पटाखे भी है। E-क्रैकर्स रिमोट के जरिए छोड़े जाने वाले क्रैकर्स हैं। यानी रिमोट का बटन दबाया और पटाखे जल उठेंगे। भारत में E-लड़ी, E-अनार, E-स्पार्कल पटाखे तैयार किए गए हैं। जिस तरह सामान्य पटाखे या ग्रीन पटाखे हैं वैसे ही ये पटाखे भी साउंड करते हैं, रंग-बिरंगी रोशनी बिखेरते। E-पटाखों में धुआं नहीं होता और न ही PM2.5 ही निकलता है। इन पटाखों को काउंसिल ऑफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च (CSIR) और नेशनल एन्वॉयरमेंटल इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट (NEERI) ने मिलकर तैयार किया है।।